
भोपाल: सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, बहुचर्चित सपना लोवंशी मामले की जांच रिपोर्ट कहां है, इसकी जानकारी किसी भी संबंधित अधिकारी के पास नहीं है। यह भी बताया जा रहा है कि एक वीडियो वायरल होने के बाद तत्कालीन अपर मुख्य सचिव स्तर के एक प्रभावशाली अधिकारी के दबाव के कारण सपना लोवंशी के खिलाफ कोई बड़ी कार्रवाई नहीं की गई थी।
जांच रिपोर्ट की गुमशुदगी:
सूत्रों का कहना है कि सपना लोवंशी से जुड़े मामले की जांच रिपोर्ट रहस्यमय तरीके से गायब है। किसी भी अधिकारी के पास इस बात की कोई जानकारी नहीं है कि रिपोर्ट कहां रखी गई है या उसकी वर्तमान स्थिति क्या है। यह गुमशुदगी मामले की जांच प्रक्रिया पर गंभीर सवाल खड़े करती है।
अपर मुख्य सचिव स्तर के अधिकारी का दबाव:
मामले से जुड़े सूत्रों ने यह भी दावा किया है कि एक वीडियो वायरल होने के बाद सपना लोवंशी के खिलाफ संभावित बड़ी कार्रवाई को तत्कालीन अपर मुख्य सचिव स्तर के एक उच्च पदस्थ अधिकारी के दबाव में रोक दिया गया था। इस दबाव के कारण ही पुलिस कार्रवाई की बजाय, मामले की जांच स्वास्थ्य आयुक्त से कराई गई थी।
10 लाख की घूस का मामला:
यह मामला कथित तौर पर 10 लाख रुपये की घूस से जुड़ा हुआ है। सामान्य परिस्थितियों में, इस तरह के गंभीर आरोप के बाद पुलिस द्वारा तत्काल कार्रवाई की जाती है। हालांकि, इस मामले में पुलिस को दरकिनार करते हुए स्वास्थ्य आयुक्त को जांच की जिम्मेदारी सौंपी गई, जिससे सवाल उठते हैं कि क्या किसी उच्च अधिकारी के दबाव के कारण ऐसा किया गया।
जांच की निष्पक्षता पर सवाल:
जांच रिपोर्ट की गुमशुदगी और एक बड़े अधिकारी के कथित दबाव की खबरों ने इस पूरे मामले की निष्पक्षता पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। यह संदेह पैदा होता है कि क्या प्रभावशाली लोगों को बचाने की कोशिश की जा रही है और क्या पीड़ित को न्याय मिल पाएगा।
आगे की कार्रवाई की उम्मीद:
अब यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि इस सनसनीखेज खुलासे के बाद सरकार और संबंधित विभाग क्या कार्रवाई करते हैं। जांच रिपोर्ट की गुमशुदगी की जांच होनी चाहिए और यदि किसी अधिकारी द्वारा दबाव डाला गया था, तो उसके खिलाफ भी उचित कार्रवाई की जानी चाहिए। इस मामले में पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित करना आवश्यक है ताकि पीड़ित को न्याय मिल सके और भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोका जा सके।