by-Ravindra Sikarwar
भारत में एक बार फिर कोविड-19 के सक्रिय मामलों में वृद्धि देखी जा रही है, जिसने स्वास्थ्य अधिकारियों और जनता के बीच नई चिंताएँ बढ़ा दी हैं। देश में सक्रिय मामलों की संख्या 4,000 के करीब पहुंच गई है, और पिछले 24 घंटों में चार नई मौतें भी दर्ज की गई हैं। इस स्थिति ने राज्यों को सतर्कता बरतने और आवश्यक सावधानियों को फिर से लागू करने के लिए प्रेरित किया है।
मामलों की वर्तमान स्थिति:
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, भारत में कोविड-19 के सक्रिय मामले 3,961 तक पहुंच गए हैं। जनवरी 2025 से अब तक कुल 32 कोविड-संबंधित मौतें हुई हैं, जिनमें से चार मौतें पिछले 24 घंटों में हुई हैं। दिल्ली, केरल, महाराष्ट्र और तमिलनाडु में प्रत्येक में एक-एक मौत दर्ज की गई है।
सर्वाधिक प्रभावित राज्य: देश में सक्रिय मामलों का सबसे अधिक बोझ कुछ प्रमुख राज्यों पर है:
- केरल: सक्रिय मामलों में सबसे आगे है, जहाँ 1,435 मामले दर्ज किए गए हैं।
- महाराष्ट्र: 506 सक्रिय मामलों के साथ दूसरे स्थान पर है।
- दिल्ली: 483 सक्रिय मामलों के साथ तीसरे स्थान पर है।
- अन्य राज्यों जैसे गुजरात (338), पश्चिम बंगाल (331), कर्नाटक (253) और उत्तर प्रदेश (157) में भी सक्रिय मामलों में वृद्धि देखी गई है।
एहतियाती उपाय और राज्यों की प्रतिक्रिया: मामलों में वृद्धि के मद्देनजर, विभिन्न राज्य सरकारों ने एहतियाती उपाय अपनाना शुरू कर दिया है।
- कर्नाटक में स्कूल: कर्नाटक में स्कूलों को फिर से खोल दिया गया है, जहाँ छात्रों को एहतियाती उपाय के तौर पर मास्क पहनने के निर्देश दिए गए हैं। यह कदम संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए सार्वजनिक स्थानों पर मास्क के महत्व को दर्शाता है।
- सतर्कता और निगरानी: केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सतर्क रहने, निगरानी बढ़ाने और अस्पताल की तैयारियों की समीक्षा करने का निर्देश दिया है। अधिकारियों ने नागरिकों से भीड़भाड़ वाली जगहों से बचने, नियमित रूप से हाथ धोने और लक्षण दिखने पर तुरंत जांच कराने की अपील की है।
- अस्पताल की तैयारी: केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली जैसे अधिक बोझ वाले राज्यों में स्वास्थ्य विभाग अस्पताल की तैयारियों और चिकित्सा आपूर्ति श्रृंखलाओं की दोबारा जांच कर रहे हैं ताकि किसी भी संभावित वृद्धि से निपटा जा सके।
विशेषज्ञों की राय और नए वेरिएंट:
विशेषज्ञों का कहना है कि मामलों में यह वृद्धि ओमिक्रॉन के उप-वेरिएंट जैसे LF.7, XFG, JN.1 और NB.1.8.1 के कारण हो रही है, जो अधिक संक्रामक हो सकते हैं, लेकिन अधिकांश मामलों में लक्षण हल्के बने हुए हैं। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के महानिदेशक डॉ. राजीव बहल ने जोर देकर कहा है कि हालांकि स्थिति की निगरानी की जा रही है, फिर भी घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है, क्योंकि अधिकांश मामले हल्के हैं और घर पर ही प्रबंधित किए जा रहे हैं।
निष्कर्ष:
भारत में कोविड-19 के सक्रिय मामलों में मौजूदा वृद्धि एक अनुस्मारक है कि वायरस अभी भी मौजूद है और सतर्कता की आवश्यकता है। हालांकि स्थिति को अभी तक गंभीर नहीं माना जा रहा है, नागरिकों को स्वास्थ्य दिशानिर्देशों का पालन करना चाहिए और सार्वजनिक स्वास्थ्य को सुरक्षित रखने के लिए जिम्मेदार व्यवहार अपनाना चाहिए। सरकार और स्वास्थ्य विभाग स्थिति पर कड़ी नजर रख रहे हैं ताकि किसी भी बड़ी लहर को रोका जा सके और जनता की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।