by-Ravindra Sikarwar
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दो दिवसीय यात्रा पर मालदीव पहुंच गए हैं, जहां वे उनके 60वें स्वतंत्रता दिवस समारोह में ‘गेस्ट ऑफ ऑनर’ (सम्मान के अतिथि) के रूप में शामिल हो रहे हैं। राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया।
यह यात्रा भारत और मालदीव के बीच संबंधों में एक महत्वपूर्ण क्षण को चिह्नित करती है, खासकर हाल के राजनयिक तनाव के बाद। प्रधानमंत्री मोदी का मालदीव की धरती पर यह पहला दौरा है जब से राष्ट्रपति मुइज्जू ने पदभार संभाला है, जिन्हें चीन समर्थक माना जाता है।
भारतीय प्रधानमंत्री के आगमन पर, माले के वेलाना अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर राष्ट्रपति मुइज्जू स्वयं उपस्थित थे, जो दोनों देशों के बीच संबंधों को सुधारने की दिशा में एक सकारात्मक संकेत है। एक भव्य समारोह में प्रधानमंत्री मोदी को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया।
अपनी यात्रा के दौरान, प्रधानमंत्री मोदी के राष्ट्रपति मुइज्जू और मालदीव के अन्य शीर्ष अधिकारियों के साथ द्विपक्षीय वार्ता करने की उम्मीद है। इन वार्ताओं में विभिन्न मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है, जिनमें रक्षा सहयोग, व्यापार, पर्यटन और लोगों से लोगों के बीच संपर्क शामिल हैं। मालदीव भारत के ‘पड़ोस पहले’ नीति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा रहा है, और यह यात्रा क्षेत्रीय स्थिरता और सहयोग के लिए भारत की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है।
मालदीव का 60वां स्वतंत्रता दिवस समारोह एक महत्वपूर्ण अवसर है, और भारत के प्रधानमंत्री का इसमें शामिल होना दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक और सांस्कृतिक संबंधों की गहराई को दर्शाता है। उम्मीद है कि यह यात्रा दोनों देशों के बीच समझ और सहयोग को मजबूत करेगी, और भविष्य में सकारात्मक संबंधों की नींव रखेगी।