by-Ravindra Sikarwar
नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट टीम के युवा और प्रतिभाशाली बल्लेबाज पृथ्वी शॉ ने हाल ही में अपने जीवन के सबसे कठिन दौर को लेकर एक बेहद चौंकाने वाला और भावुक खुलासा किया है। उन्होंने स्वीकार किया है कि करियर के एक नाजुक मोड़ पर उन्होंने “गलत दोस्तों” पर भरोसा कर लिया था, जिसकी वजह से उनका ध्यान क्रिकेट से पूरी तरह भटक गया। शॉ ने बताया कि ऐसे मुश्किल समय में अगर कोई उनके साथ खड़ा रहा तो वह उनके साथी क्रिकेटर और जिगरी दोस्त ऋषभ पंत थे, जिन्होंने उन्हें सही राह दिखाई।
संघर्ष और गलत संगत:
एक इंटरव्यू के दौरान पृथ्वी शॉ ने अपनी बात को बिना किसी हिचकिचाहट के सबके सामने रखा। उन्होंने कहा, “जब मैं बुरे दौर से गुजर रहा था, तब मैंने कुछ ऐसे लोगों से दोस्ती कर ली थी, जिनका मुझ पर बहुत नकारात्मक असर पड़ा। मैंने गलत लोगों पर भरोसा किया और गलत दोस्त बना लिए, जिसकी वजह से मुझे काफी परेशानी हुई और मेरा ध्यान क्रिकेट से हट गया।” उनका यह बयान बताता है कि कैसे मैदान के बाहर का माहौल खिलाड़ियों के प्रदर्शन को प्रभावित कर सकता है।
ऋषभ पंत बने सच्चा सहारा:
शॉ ने अपने दोस्त ऋषभ पंत की जमकर तारीफ की और उन्हें अपने लिए एक ‘सच्चा दोस्त’ बताया। उन्होंने कहा, “जब मैं पूरी तरह से हताश था, तब ऋषभ ने ही मुझे संभाला। वह हमेशा मेरे लिए मौजूद रहता था, चाहे मुझे किसी भी चीज की जरूरत हो। उसने मुझे सही राह दिखाई और मुझे फिर से मेरे खेल पर ध्यान केंद्रित करने में मदद की। उसने मुझे बताया कि मेरा असली फोकस क्या होना चाहिए।” यह खुलासा दोनों खिलाड़ियों के बीच एक मजबूत और भरोसेमंद बॉन्ड को दर्शाता है।
उतार-चढ़ाव भरा रहा है करियर:
गौरतलब है कि पृथ्वी शॉ ने अपने करियर की शुरुआत बेहद शानदार तरीके से की थी। उन्होंने अंडर-19 विश्व कप में भारत की कप्तानी की और अपनी पहली ही टेस्ट पारी में शतक जड़कर सनसनी मचा दी थी। हालांकि, इसके बाद चोटों, खराब फिटनेस और फॉर्म में उतार-चढ़ाव के कारण उन्हें टीम से बाहर रहना पड़ा। अपने संघर्ष के इस दौर में उन्होंने जिस तरह का मानसिक दबाव झेला, उनका यह खुलासा उसी का एक हिस्सा है।
शॉ अब वापसी कर चुके हैं और एक बार फिर क्रिकेट पर अपना पूरा ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। उनका यह बयान यह दर्शाता है कि खिलाड़ियों को मैदान के बाहर भी सही मार्गदर्शन और मजबूत सपोर्ट सिस्टम की कितनी आवश्यकता होती है।