
नई दिल्ली: भारतीय सेना द्वारा पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में किए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद, पाकिस्तान ने भारत की सैन्य कार्रवाई को कम आंकने और गलत सूचना फैलाने के लिए एक संगठित अभियान शुरू किया है। पाकिस्तानी सोशल मीडिया और कुछ राजनीतिक हस्तियां पुरानी तस्वीरों और वीडियो का उपयोग करके झूठे दावे कर रही हैं, जिससे जनता के बीच भ्रम पैदा हो रहा है।
पाकिस्तानी दुष्प्रचार का उद्देश्य
पाकिस्तान का यह दुष्प्रचार अभियान भारत के सफल सैन्य अभियान की विश्वसनीयता को कम करने और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को गुमराह करने के लिए चलाया जा रहा है। पाकिस्तान समर्थित तत्व पुरानी घटनाओं से संबंधित सामग्री को वर्तमान के रूप में दिखा रहे हैं, जिससे वास्तविकता को छुपाया जा सके।
वायरल किए जा रहे झूठे दावे और उनकी सच्चाई:
- राफेल विमान गिराए जाने का दावा: सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल की गई, जिसमें दावा किया गया कि पाकिस्तानी सेना ने बहावलपुर के पास एक भारतीय राफेल विमान को मार गिराया है। हालांकि, पीआईबी फैक्ट चेक ने इस दावे का खंडन करते हुए बताया कि वह तस्वीर 2021 में पंजाब के मोगा में हुई एक मिग-21 दुर्घटना की है और उसका ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से कोई संबंध नहीं है।
- भारतीय सेना के आत्मसमर्पण का झूठा वीडियो: एक वीडियो प्रसारित किया गया, जिसमें दावा किया गया कि भारतीय सेना ने चोरा पोस्ट पर सफेद झंडा फहराकर आत्मसमर्पण कर दिया है। पाकिस्तान के मंत्री अता उल्ला तारड़ ने भी इस झूठे दावे का समर्थन किया, लेकिन यह वीडियो पूरी तरह से मनगढ़ंत निकला।
- श्रीनगर एयरबेस पर हमले का गलत वीडियो: एक अन्य वीडियो में पाकिस्तानी वायुसेना द्वारा श्रीनगर एयरबेस को निशाना बनाने का दावा किया गया। जांच में पता चला कि यह वीडियो 2024 में पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा में हुई सांप्रदायिक हिंसा का है और इसका कश्मीर या हालिया हवाई हमलों से कोई संबंध नहीं है।
- ब्रिगेड मुख्यालय नष्ट करने की अफवाह: यह भी अफवाह फैलाई गई कि पाकिस्तान ने एक भारतीय ब्रिगेड मुख्यालय को नष्ट कर दिया है, लेकिन रक्षा सूत्रों ने इसे पूरी तरह से झूठा बताया है।
- पुराने विमान दुर्घटना की तस्वीरें: पाकिस्तानी समर्थक सोशल मीडिया अकाउंट्स 2024 में राजस्थान के बाड़मेर में हुई एक मिग-29 दुर्घटना की तस्वीरें प्रसारित कर रहे हैं, ताकि यह दिखाया जा सके कि भारतीय वायुसेना को भी भारी नुकसान हुआ है।
पाकिस्तानी रक्षा मंत्री का झूठा बयान:
पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने शुरू में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान भारतीय सैनिकों को पकड़ने का झूठा दावा किया था। हालांकि, बाद में उन्होंने अपने बयान का खंडन करते हुए स्पष्ट किया कि कोई भी भारतीय सैनिक हिरासत में नहीं लिया गया है।
दुष्प्रचार का उद्देश्य:
पाकिस्तान द्वारा इस दुष्प्रचार का उद्देश्य ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता से ध्यान हटाना, अपनी जनता को गुमराह करना और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की छवि को धूमिल करना है। पाकिस्तान चाहता है कि दुनिया यह माने कि उसने भारत को मुंहतोड़ जवाब दिया है।
निष्कर्ष:
‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद, पाकिस्तान की ओर से समन्वित दुष्प्रचार अभियान चलाया जा रहा है। जनता को सलाह दी जाती है कि वे सोशल मीडिया पर साझा की जा रही किसी भी असत्यापित जानकारी पर विश्वास न करें और केवल विश्वसनीय स्रोतों से प्राप्त समाचारों पर ही भरोसा करें।